नगर निगम में रोजाना अपनी समस्याओं को लेकर सैकड़ो लोग पहुंचते हैं। लेकिन उनकी समस्याएं कम होने का नाम नहीं ले रही। अधिकारियों की लापरवाही और अनदेखी के चलते गरीब जनता परेशानी का सामना कर रही है। लेकिन एसी कमरों में बैठे अधिकारियों को उनकी समस्याओं से कोई लेना देना नहीं है। फरियादी रोजाना चक्कर लगाकर अपने घर वापस चले जाते।

ऐसा एक मामला नगर निगम के डूडा विभाग में देखने को मिला। जहां एक फरियादी काशीराम आवास के लिए 15 सालों से चक्कर लगा रहा है। बाग राजपुर निवासी मदनलाल ने बताया कि मैं 25 सालों से किराए के मकान में रह रहा हू ।उसने एक आवास डूडा विभाग से लिया था । जिसका आवंटन उसके नाम में हुआ। लेकिन पैसा जमा होने के बावजूद भी अभी तक आवास नहीं दिया गया है। जिसके चलते वह रोजाना विभाग के चक्कर लगा रहा है। मदनलाल को यहां से वहां भेजने के बाद भी उसे आवास नहीं मिला है। उसका कहना है की बसई मंडी स्थित तमाम आवास खाली पड़े हैं। अधिकारी चाहे तो वह आवंटित कर सकते हैं। लेकिन ऐसा नहीं किया जा रहा। कालिंदी विहार में बने काशीराम आवास पूरी तरह जर्जर होने से वहां लोग रहने से भी डरने लगे हैं ऐसे में बसई मंडी पर खाली पड़े मकान में लोगों ने कब्जा जमा लिया है। लेकिन जिनके नाम से आवंटन हुआ है वह विभाग के चक्कर लगा रहे हैं।
ऐसे सैकड़ो लोग हैं जिन्होंने हार मानकर आस छोड़ दी। लेकिन उन्हें आवास नहीं मिल पाए। लोगों का कहना है। जिस तरह आवंटन की प्रक्रिया की गई थी। उसके बाद अधिकारियों की लापरवाही के चलते ऐसा हो रहा है।