श्री भागवत चिंतन ट्रस्ट परिवार की ओर से दो दिवसीय श्री ज्वालाजी दिवोत्सव का आयोजन 15 जून को भव्य शोभायात्रा निकलकर किया गया | शोभायात्रा में विभिन्न प्रकार की मनमोहक झांकियां शामिल रहीं |

ढोल की ढम-ढम और बैंड बाजो स्वरों से गूंजता मार्ग। नंगे पैर कोई भक्त माँ के आगे शीश झुका रहा था तो कोई झूम रहा था| श्री ज्वाला जी शोभायात्रा का मुख्य आकर्षण केरल की छह देवियां, त्रिपुरा के हनुमान और नौका बिहार करते राधा कृष्ण की संजीव झांकी के होते मनभावन दर्शन। मौका था श्री भागवत चिंतन ट्रस्ट परिवार की ओर से श्री ज्वालाजी दिवोत्सव के उपलक्ष्य में भव्य शोभायात्रा का। नासिक के प्रख्यात ढोल के साथ छह बैण्ड और प्रथम पूज्य गणपति के साथ राज राजेश्वरी कैला माता, राधा-कृष्ण, भैरो बाबा, महाकाल के दर्शन सहित 24 झांकियां श्रद्धालुओं को आकर्षित कर रही थी। शोभायात्रा का शुभारम्भ फुलट्टी चौराहा स्थित माँ भगवती मंदिर पर संस्थापक पंडित कृष्णांग गौरव दीक्षित और पीताम्बरा पीठ दतिया के उपआचार्य याज्ञवल्क्य महाराज और पंडित किशन शर्मा ने वैदिक मंत्रोचारण से पूर्णाहुति व महाभिषेक कर किया।
कार्यक्रम संयोजक कमल शर्मा ने बताया कि फुलट्टी चौराहे से सेव का बाजार, फुब्बारा, किनारी बाजार, जौहरी बाजार, सुभाष बाजार, दरेसी, बेलनगंज, पथवारी, घटिया चौराहा से छिली ईट होती हुई फुलट्टी चौक पर संपन्न हुई। यात्रा का आठ प्रमुख स्थानों पर भव्य स्वागत और महाआरती फुलट्टी चौक की गयी। खाटू नरेश की झांकी का शृंगार विदेशी फूलों से किया गया। भैरो की झांकी व फूलबंगला भी मनमोहक रहा।शोभायात्रा संयोजक नीरज गर्ग और अभिषेक गर्ग ने बताया कि मार्ग में श्रद्धालुओं ने झांकियों का फूल-मालाओं से स्वागत किया। एक के बाद एक माँ चामुंडा देवी मंदिर, पीताम्बरा देवी(दतिया), कैला देवी मंदिर(करोली), वैष्णो देवी मंदिर(कटरा), ज्वाला देवी मंदिर(हिमाचल), कैलाश महादेव मंदिर, सालासर बालाजी मंदिर, काली बाड़ी मंदिर, खाटू श्याम मंदिर, नरी सेमरी मंदिर, नैना देवी मंदिर आदि के दर्शनों के लिए श्रद्धालुओं का ताँता लगा रहा। मार्ग में पुष्प व इत्र वर्षा और मुख्य चौराहे पर आतिशबाजी की गयी।